झारखण्ड प्रशासनिक इतिहास


1780

कैप्टन कैमक के पलामू में कब्जा करने के कुछ वर्षो बाद छोटानागपुर क्षेत्र में प्रशासनिक संघटन को मजबूत करने के लिए 1780 में छोटानागपुर के पहले नागरिक प्रशासक के रूप में चैपमैन को कैप्टन कैमक का उत्तराधिकारी बनाया गया। विजित प्रांतों को 1780 में रामगढ़ हिल ट्रैक्ट के नाम से एक जिले के तहत संगठित किया गया। यह प्रशासनिक संघटन 1863 तक चला।

1819

ईस्ट इंडिया कंपनी के प्रशासन के तहत महाराजा अब सहायक प्रमुख नहीं रह गए थे। इसी परिदृश्य में 1819 में, दक्षिण बिहार या छोटानागपुर महाल में सरकार के लिए एक राजनीतिक एजेंट नियुक्त किया गया । मेजर रफसेज, को 1819 में इस क्षेत्र का पहला "राजनीतिक एजेंट " नियुक्त किया गया।

1834

मानभूम, लोहरदग्गा और हजारीबाग

1834 में साउथ-वेस्ट फ्रंटियर एजेंसी की स्थापना की गई, जिसका मुख्यालय किशनपुर (रांची) में था। कैप्टन थॉमस विल्किंसन को पहला एजेंट नियुक्त किया गया था, और उनके एक प्रधान सहायक, लेफ्टिनेंट ओसेले को लोहरदगा डिवीजन का प्रभारी नियुक्त किया गया था, जो लोहरदगा डिवीजन के वर्तमान जिले पलामू और रांची तक विस्तृत था और जिसका मुख्यालय लोहरदगा में था ।

1833 के कानून XIII के अनुसार, साउथ-वेस्ट फ्रंटियर एजेंसी की स्थापना के इस क्षेत्र को तीन डिवीजनों में विभाजित किया, मानभूम, लोहुरदग्गा और हजारीबाग डिवीजन। मानभूम के प्रशासक थे इनसाइन नीलसन , लोहुरदग्गा

के लेफ्टिनेंट ओउस्ले और हजारीबाग के प्रशासक थे मिस्टर डेविडसन । मानभूम का हेडक्वाटर था मान बाजार , लोहरदगा का लोहरदग्गा और हज़ारीबाग का हजारीबाग।

1837

1837 में सिंहभूम में कब्जे के बाद कर्नल टिकल के प्रशासन में चौथा डिवीजन सिंहभूम बना जिसका हेडक्वाटर था चाईबासा।

1854

1854 में दक्षिण पश्चिम सीमांत एजेंसी को खत्म कर दिया गया और छोटानागपुर जिला कहलाने लगा जिसमे पलामू , लोहरदगा और रांची का क्षेत्र शामिल था ।

1st January 1892

पलामू जिला बना , लोहरदग्गा से अलग होकर

09-01-1899

लोहरदगा जिला बना रांची से होकर

24-10-1956

धनबाद जिला , मानभूम जिला से होकर बना

4 दिसंबर 1972

गिरिडीह जिला, हज़ारीबाग जिले से अलग कर बनाया गया

16-05-1983

लोहरदगा , रांची से बनाया गया

17 मई 1983

साहेबगंज , संथालपरगना से बनाया गया

18 मई 1983

गुमला , रांची से बनाया गया

25 मई 1983

गोड्डा , संथालपरगना से बनाया गया

01-06-1983

देवघर और दुमका जिला को संथाल परगना जिले से बनाया गया

12-01-1990

पश्चिमी सिंहभूम , पुराने सिंहभूम जिले से बनाया गया

16 जनवरी 1990

पूर्वी सिंहभूम , पुराने सिंहभूम जिले से बनाया गया

01-04-1991

बोकारो , धनबाद जिले से बनाया गया

29-05-1991

चतरा , हज़ारीबाग जिले से बनाया गया

28-01-1994

पाकुड़ , साहिबगंज जिले से बनाया गया

10 अप्रैल 1994

कोडरमा , हजारीबाग जिले से बनाया गया

01-04-2001

सराईकेला - खरसावा , पश्चिम सिंहभूम जिले से बनाया गया

26-04-2001

जामताड़ा , दुमका जिले से बनाया गया

30-04-2001

सिमडेगा , गुमला जिले से बनाया गया

12-09-2007

खूंटी , रांची जिले से बनाया गया

12-09-2007

रामगढ़ , हजारीबाग जिले से बनाया गया